कटनी से लखन लाल की रिपोर्ट... (टाइम्स ऑफ क्राइम)
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कटनी. जैसा की विदित हो अपने पिछले अंक में टाइम्स ऑफ क्राइम की टीम ने नदी किनारे अवैध निर्माण का फोटो के साथ आला अधिकारियों की नजर में लाया था और आला अधिकारी इस खबर को पढ़ा भी हैं किन्तु इन आला अधिकारियों को अपना दायित्व निभाने में शायद परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। मालूम होता की अधिकारी अपना काम ईमानदारी से करना नहीं चाहते या फि र कोई और बात है सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार लोगों से ये सुनने को मिल रहा है कि ये सारी जमीन जिले के धनपशु एवं खद्दावर नेता जैसे व्यक्तियों की नदी के किनारे की जमीनों में अपना करोड़ों की रकम लगा के बैठे हैं जो सीधे भोपाल विधानसभा में बैठे हुये लोग है यही बजह हंै कि यहां बैठे अधिकारी इस और ध्यान नहीं दे रहें हैं। ऐसी कई अवैध कालोनीयों का निमार्ण कई ऐसी जगह हो रहा है, राहुल बाग माईनदी घाट जहां पर लोगों ने अवैध निर्माण कर के करोड़ों रकम कमा डाली और राजस्व को करोड़ों का नुकसान पहुॅचा चुके और अभी औरों में तैयारी चल रही है।
ऐसा नहीं है कि इन अधिकारियों को मालूम नहीं है। सारे विभाग संदेह के दायरे में आते हैं क्योंकि कभी जब ऐसे नक्शे नगर निगम या टाऊन एण्ड कन्ट्री प्लानिंग के सामने जाते हैं तो क्या यहां बैठे अधिकार अंधे होते हैं। या फिर इनके पास इन जैसों के पास इनके दलाल नोटों की गड्डी लेकर पहले पहुच जाते है। रकम का बजन देखते ही इन अधिकरियों के मुह में पानी आ जाता है और ये जगह देखे बगैर ही सभी विभाग सारे काम बिना किसी के रोक-टोक के कर दिया जाता है।
इससे साफ जाहिर होता है कि इन सारे विभाग में बैठे अधिकारी कुर्सी में बैठने से पहले भ्रष्टाचार का पाठ पहले से पढ़ कर आते हैं। तभी तो शायद ये लोग भ्रष्टाचार की सारी सीमा पार कर जाते हैं। राजस्व को नुकसान पहुंचाकर लाखों की रकम कमाते है जैसे ये नौकरी सरकार की नहीं इन चंद दलालों एवं धनपशुओं की नौकरी करते हैं तभी तो ऐ अधिकारी पूर्ण रूप से बेईमान कहलाने लगते हैं। और जब इन पर उगंली उठती है तब ये अपना ट्रंार्सफ र करा कर अन्यत्रं जा कर वहां भी इसी प्रकार की धंाधली में लिप्त हो जाते हैं।
कलेक्टर के आदेश की होती अवहेलना
कलेक्टर अशोक सिंह के सक्त आदेश है कि कहीं भी नदी या फिर तालाब के किनारे किसी प्रकार का निर्माण नहीं किया जा सकता और अगर किसी ने निर्माण किया तो वह उसकी खुद की जिम्मेदारी होगी यहां प्रशासन अपना दायित्व निभाते हुये हो चुके निर्माण को तोडग़ी एवं इनके खिलाफ मामला भी बनायेगी। भ्रष्ट अधिकरियों एवं कर्मचारियों के खिलाफ सक्त कार्यवाही होगी। उसके बाद भी न तो अधिकारियों को और न कर्मचारियों को इस बात का डर है।
उच्चन्यालय ने मांगा जवाब ननि एवं टीएनसीपी से
उच्चन्यायाल में लगभग आठ माह पहले परिवाद का आवेदन लगाया गया था जिसमें दर्शाया गया था कि जिले की जीवन दायनी नदी की सहायक नदी माई नदी जो आगे जा कर कटनी नदी में मिल जाती है जिस कुछ आवांछित लोगों के द्वारा नदी किनारे की जमीन पर अवैध कर अधिक धन कमाने के चक्कर में नदी की धारा को ही मोड़ दिया गया जिससे उच्चन्यायलय के श्रीमान लोहाटी जी नगर निगम एवं टीएनसीपी से 8 माह पहले जवाब मांगा था जिसमें दोनों विभाग उच्चन्यालय को जवाब देने में असमर्थ रहे। कारण सिर्फ उन धनपशुओं का साथ देना और अधिक कमाई करने के अलावा कुछ नहीं है।च
Posted by 02.55
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