खंडवा. मध्य प्रदेश के खंडवा जिले के पंधाना ब्लाक में आज सुबह लोकायुक्त पुलिस ने पंधाना के ब्लाक मेडिकल आफिसर को नौ हजार रूपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा। यह बीएमओ अपने क्षेत्र में चल रहे एक झोलाछाप डाक्टर को क्लीन चीट देने के बदले में दस हजार रूपए की मांग कर रहे थे। पिछले हफ्ते ही बीएमओ ने इस डाक्टर के क्लिनिक पर जांच की थी और एलोपैथिक दवाईयां और इंजेक्शन से इलाज करते पाए गए थे। इसी जांच रिपोर्ट को ठीक करने के बदले बीएमओ ने रिश्वत ली थी।
इंदौर डीएसपी लोकायुक्त जीडी शर्मा ने बताया कि खंडवा जिले के पंधाना के सामुदायिक स्वास्थ केंद्र में कार्यरत ब्लाक मेडिकल आफिसर हीरालाल बोरसिया अपने ब्लाक में अवैध रूप से काम कर रहे झोलाछाप डाक्टरों के खिलाफ जांच कर रहे थे। पिछले हफ्ते इन्होंने पंधाना में ही यूनानी पद्धति से डाक्टरी करने वाले सुरेन्द्र चौहान के क्लिनिक पर छापा मारा और वहां से एलोपैथिक दवाई और इंजेक्शन से डाक्टर का इलाज करते पाया। बीएमओ ने इस डाक्टर पर कठोर कार्रवाई करने का दबाव बनाया और सबकुछ ओके करने की बात पर दस हजार रूपए की रिश्वत की मांग की। डाक्टर चौहान ने आज नौ हजार रूपए दिए और इंदौर से आई लोकायुक्त पुलिस ने उन्हें रंगे हाथों धरदबोचा।
फरियादी डा. सुरेन्द्र चौहान ने बताया की उसके पास पास यूनानी पद्धति की डिग्री है और वह इसके अलावा एलोपैथी से भी इलाज करते हैं। बीएमओ की कार्रवाई से परेशान पीडि़त डाक्टर ने इसकी शिकायत लोकायुक्त पुलिस को की थी। लोकायुक्त पुलिस ने बीएमओ के साथ उसी के सहयोगी एक अन्य कर्मचारी धर्मेन्द्र रॉय को भी आरोपी बनाया है। बीएमओ को फिलहाल जमानत पर छोड़ दिया गया है।
Posted by , Published at 08.42

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